अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस

सामान्य योग अभ्यासक्रम (प्रोटोकाल)
युज्यते इति योगः - योग शब्द संस्कृत की युज् धातु से बना है जिसका अर्थ है ‘‘ जोडना ‘‘
1. प्रार्थना - सामान्य योग अभ्यासक्रम की शुरूआत निम्न प्रार्थना के साथ की जाती है -
‘‘ ओम् संगच्छध्वं संवदध्वं, सं वो मनांसि जानताम्
देवा भागं यथा पूर्वे संञ्जानाना उपासते ।।
अर्थात् हम सब साथ गमन करे, हम सब साथ एक सुर में बोले, हम सब अपने मन को समचित्त बनाएं जैसा कि यह पूर्व में था, आईए ईष्वरत्व को अपनी उपासना में झलकने दे।
2. चालन क्रिया/शिथिलीकरण के अभ्यास
(1) ग्रीवा चालन (2) स्कंध संचालन (3) कटि संचालन (4) घुटना संचालन
3. योगासन
(क) खड़े होकर किये जाने वाले आसन (ख) बैठकर किये जाने वाले आसन
1. ताड़ासन | 1. भद्रासन | |||
2. वृक्षासन | 2. वज्रासन/वीरासन | |||
3. पाद-हस्तासन | 3. अर्धउष्ट्रासन | |||
4. अर्धचक्रासन | 4. शशांकासन | |||
5. त्रिकोणासन | 5. उत्तानमंडूकासन | |||
6. मरीच्यासन/वक्रासन |
(ग) उदर के बल लेटकर किये जाने वाले आसन
- मकरासन
- भुजंगासन
- शलभासन
(घ) पीठ के बल लेटकर किये जाने वाले आसन
- सेतुबंधासन
- उत्तान-पादासन
- अर्ध हलासन
- पवनमुक्तासन
- शवासन
4. कपालभाति
5. प्राणायाम
- नाड़ी शोधन या अनुलोम विलोम प्राणायाम
- शीतली एवं भ्रामरी प्राणायाम
6. शांभवी मुद्रा में ध्यान
7. संकल्प
8. शांति पाठ
